Lucknow News: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में BHMS, BAMS, BUMS कर रहे छात्र-छात्राओं का नेशनल एग्जिट एग्जाम को लेकर विरोध प्रदर्शन लगातार जारी है। कहीं भी उनकी सुनवाई नहीं हो रही है। छात्रों ने नेशनल कमीशन ऑफ होम्योपैथी, आयुष मंत्री और मुख्यमंत्री तक गुहार लगाई है। लेकिन अभी तक निराशा ही उनके हाथ लगी है।
छात्रों का एक प्रतिनिधिमंडल नेशनल कमिशन आफ होम्योपैथी से मिलकर अपनी मांग रखने जा रहा है। बताया जा रहा है कि इसमें छात्रों का सहयोग कोलकाता और दिल्ली के होम्योपैथिक डॉक्टर एसोसिएशन कर रहे हैं। बता दें MBBS छात्रों के लिए इस एग्जाम को वर्ष 2028 में करने को कहा गया है। वहीं BHMS, BAMS, BUMS के छात्रों के लिए यह एग्जाम इसी वर्ष से लागू कर दिया गया है।
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जिसको लेकर उत्तर प्रदेश में BHMS, BAMS , BUMS कर रहे छात्र-छात्राओं ने अगली परीक्षा नेशनल एग्जिट एग्जाम का विरोध शुरू कर दिया। विरोध कर रहे छात्र-छात्राओं का कहना है कि यह अधिसूचना आयुष मंत्रालय की ओर से 28 नवंबर वर्ष 2023 में जारी की गई थी। तो नियम भी वर्ष 2024 बैच पर लागू होने चाहिए। लेकिन यह नियम 2018 बैच के छात्र-छात्राओं पर लागू किए गए हैं।
जो बिल्कुल भी उचित नहीं है। आयुष मंत्रालय की ओर से से BHMS, BAMS, BUMS कर रहे छात्र-छात्राओं के लिए इंटर्नशिप करने के बाद नेशनल एग्जिट एग्जाम पास करने की अधिसूचना जारी की है। इस परीक्षा को पास करने के बाद ही छात्र-छात्राओं का रजिस्ट्रेशन होगा। इतना ही नहीं बल्कि उसके बाद ही वह डाक्टर बन सकेंगे।
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