नई दिल्ली: बांग्लादेश हिंदू बुद्धिस्ट क्रिश्चियन यूनिटी काउंसिल की रिपोर्ट सामने आई है. रिपोर्ट में बताया गया है कि बांग्लादेश में हुई सांप्रदायिक हिंसा में करीब 32 हिंदुओं की हत्या की गई है. हत्या की ये घटनाएं 4 अगस्त 2024 से 31 दिसंबर 2024 के बीच की हैं. इसके अलावा रिपोर्ट में महिलाओं से दुष्कर्म और उत्पीड़क के करीब 13 घटनाएं होने का जिक्र किया गया है. इसके अलावा मंदिरों पर 133 बार हमले भी हुए हैं.
बता दें कि बांग्लादेश में कई दिनों से चल रहे छात्र आंदोलन के बाद शेख हसीना सरकार का तख्तापलट हो गया था. उस समय शेख हसीना को देश छोड़कर भागना पड़ा था. साथ ही बांग्लादेश में हालात बुरी तरह से बिगड़ गए थे. वहां की पुलिस भी रातों-रात अंडरग्राउंड हो गई थी. साथ ही लॉ एंड ऑर्डर भी पूरी तरह से ध्वस्त हो गया था. वहीं, काउंसिल के अनुसार बांग्लादेश में तख्तापलट के बाद 15 दिनों के भीतर अल्पसंख्यकों के खिलाफ सांप्रदायिक हिंसा की कुल 2010 घटनाएं सामने आई थीं.
रिपोर्ट के मुताबिक बेकाबू भीड़ के निशाने पर सबसे ज्यादा हिंदू रहे. 4 अगस्त 2024 से 31 दिसंबर 2024 के बीच करीब 32 हिंदुओं की हत्या हुई थी. महिलाओं से दुष्कर्म और उत्पीड़न की 13 घटनाएं सामने आई सामने आई थीं. वहीं, मंदिरों पर 133 हमले भी हुए थे. बांग्लादेश के चीफ एडवाइजर के दफ्तर की ओर से 11 जनवरी 2025 को बताया गया कि 2010 में से करीब 1769 केस कन्फर्म हैं. साथ ही करीब 1415 मामलों की जांच भी हो चुकी है. इसके अलावा लगभग 354 मामलों का रिव्यू भी किया जा रहा है.
वहीं, बीते साल बांग्लादेश में हुए सरकार विरोधी छात्र प्रदर्शनों को लेकर संयुक्त राष्ट्र की ओर से एक रिपोर्ट जारी की गई है. रिपोर्ट में दावा किया गया है कि कार्रवाई में करीब 1,400 लोगों की हत्या हुई है. इनमें अधिकतर लोगों की मौत का जिम्मेदार सुरक्षा बलों के द्वारा की गई गोलीबारी को बताया गया है. रिपोर्ट में बताया गया कि पिछले साल शेख हसीना सरकार के तख्तापलट के बाद हिंदुओं के घरों, व्यवसायिक प्रतिष्ठानों औ मंदिरों पर हमले हुए. वहां रहने वाले सभी अल्पसंख्यक आज भी डर कर जी रहे हैं.