नई दिल्ली: पीएम मोदी ने अटल बिहारी वाजपेयी की 100वीं जयंती के अवसर पर उनकी समाधि सदैव अटल पर पहुंचकर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की. इस दौरान उन्होंन भारतीय राजनीति और भारत के विकास में उनके असाधारण योगदान को सराहा. पीएम मोदी ने वाजपेयी को एक ऐसे नेता के रूप में याद किया, जिन्होंने राजनीतिक अस्थिरता के कठिन समय में भी देश को स्थिरता दी और उसे नई दिशा में आगे बढ़ाया.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वाजपेयी की साधारण शुरुआत और आम नागरिकों की समस्याओं को समझने की उनकी गहरी सहानुभूति पर अपने विचार रखे. उन्होंने कहा कि वाजपेयी ने अपने नेतृत्व से पूरे देश का दिल जीता. उनकी दूरदर्शी नीतियों और योजनाओं ने भारत के बुनियादी ढांचे और शिक्षा क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव किए.
स्वर्णिम चतुर्भुज और प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना
मोदी ने अलटजी की सरकार में चलाई गई स्वर्णिम चतुर्भुज परियोजना और प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना का उल्लेख करते हुए कहा कि इन योजनाओं ने ग्रामीण और शहरी भारत के बीच की दूरी को कम किया और आर्थिक विकास को बढ़ावा दिया. उन्होंने दिल्ली मेट्रो की स्थापना को वाजपेयी के शहरी परिवहन सुधारों का ऐतिहासिक कदम बताया.
शिक्षा और राष्ट्रीय सुरक्षा के क्षेत्र में अटलजी की दूरदर्शिता
प्रधानमंत्री मोदी ने अटलजी के सर्व शिक्षा अभियान को एक क्रांतिकारी कदम बताया, जिसने शिक्षा को हर बच्चे के लिए सुलभ और समावेशी बनाया. इसके अलावा, 1998 में हुए पोखरण परमाणु परीक्षणों को अटलजी के साहस का प्रतीक बताया, जिन्होंने भारत को एक मजबूत वैज्ञानिक और रक्षा शक्ति के रूप में स्थापित किया.
गठबंधन राजनीति में अटलजी की कुशलता
पीएम मोदी ने राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) के गठन में वाजपेयी की कुशलता की सराहना की. उन्होंने कहा कि वाजपेयी ने भारतीय राजनीति को नए सिरे से परिभाषित किया, जिसमें नैतिकता, सहिष्णुता और समावेशिता को प्रमुखता दी गई.
संस्कृति और भाषा के प्रति गर्व
अटल बिहारी वाजपेयी के संयुक्त राष्ट्र में दिए गए ऐतिहासिक हिंदी भाषण को याद करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि यह भारतीय संस्कृति और भाषा के प्रति वाजपेयी के गर्व का प्रतीक था. उनका यह भाषण भारतीय परंपराओं और मूल्यों के प्रति उनकी गहरी आस्था को दर्शाता है.