लखनऊ: भारतीय जनता पार्टी (BJP) के विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह ने समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने सोशल मीडिया मंच एक्स पर एक पोस्ट में सपा की पिछली सरकारों पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाए हैं। डॉ. राजेश्वर सिंह ने लिखा, “2005 से 2007 तक समाजवादी पार्टी की सरकार ने भाई-भतीजावाद और भ्रष्टाचार की फेहरिस्त बना कर भ्रष्ट्राचार की जो पौध यूपी पुलिस में भर्ती कर उगाई, वो अब वटवृक्ष बन गई है। योगी सरकार को अब इन रक्तबीजों का संहार करना मजबूरी है।”
2005 से 2007 तक समाजवादी पार्टी की सरकार ने पैसा और भाई-भतीजावाद की फ़ेहरिस्त बना कर भ्रष्टाचार की जो पौध यूपी पुलिस में भर्ती कर उगाई, वो अब वटवृक्ष बन गई है। योगी सरकार को अब इन रख़्तबीजों का संहार करना मजबूरी है।
थाने की दीवार कूदने वाला ये भ्रष्ट दरोग़ा, 2005 की भ्रष्टाचार… pic.twitter.com/8i1uA8mU13
— Rajeshwar Singh (@RajeshwarS73) August 23, 2024
राजेश्वर सिंह ने अखिलेश यादव के हालिया ट्वीट का संदर्भ देते हुए कहा कि थाने की दीवार कूदने वाले भ्रष्ट दरोगा की जड़ें 2005 की सपा सरकार की हैं। उन्होंने कहा कि सपा की भ्रष्टाचार की लंबी फेहरिस्त की जानकारी प्रदेश की जनता को भी है। उन्होंने ट्वीट में सपा काल के प्रमुख भ्रष्टाचार के मामलों का उल्लेख किया।
उन्होंने आगे लिखा :
₹4,500 करोड़ का Cycle Track Development Scam
₹4,000 करोड़ का Mining Scam
₹2,500 करोड़ का LDA Land Allotment Scam
₹1,500 करोड़ का State Highway Project Scam
₹1,400 करोड़ का Gomti Riverfront Project Scam
₹1,000 करोड़ का Health Department Scam
₹800 करोड़ का Zila Panchayat Projects Scam
₹300 करोड़ का Laptop Distribution Scam
डॉ. राजेश्वर सिंह ने आरोप लगाया कि सपा की सभी सरकारों में कोई ऐसा विभाग नहीं बचा जिसमें भ्रष्टाचार न हुआ हो। उन्होंने कहा कि सरकारी योजनाओं के नाम पर ₹97,000 करोड़ की भारी लूट की गई, जिसका खुलासा 2018 की CAG रिपोर्ट में हुआ। उन्होंने यह भी कहा कि पुलिस भर्ती में भ्रष्टाचार और अपने लोगों को पदों पर बैठाने का मॉडल सपा का ‘विकास’ मॉडल था।
उन्होंने ट्वीट में आगे बताया कि UPPSC भर्ती घोटाले में 86 चयनित उम्मीदवारों में से 50 एक ही जाति के थे और आपराधिक पृष्ठभूमि वाले भी सिपाही बना दिए गए थे। 600 से अधिक भर्तियों को रद्द करने और जांच की मांग को लेकर 700 से अधिक याचिकाएं हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई थीं। UPPSC के अध्यक्ष को हाई कोर्ट द्वारा हटाने और CBI जांच के आदेश दिए गए थे।
अभी तो बस थाने की दीवार कूदी है, यदि भ्रष्टाचार का ओलंपिक होता तो भाजपा राज में ऐसी विशिष्ट योग्यता रखनेवाले कुछ कृपा प्राप्त पुलिसवाले ‘हाई जंप’ में प्लेटिनम मैडल ले आते।
अब सवाल ये है कि उच्च पुलिस अधिकारियों ने छापा क्यों मारा, जबकि उन्होंने ही उस इंस्पेक्टर की पोस्टिंग की… pic.twitter.com/gNa7qWrBot
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) August 22, 2024
राजेश्वर सिंह ने अखिलेश यादव के एक हालिया पोस्ट का जवाब दिया, जिसमें यादव ने भाजपा सरकार की भ्रष्टाचार पर टिप्पणी की थी। अखिलेश यादव ने ट्वीट करके बरेली के फरीदपुर थाना प्रभारी के रिश्वत मामले को लेकर भाजपा सरकार पर कटाक्ष किया था। भाजपा विधायक राजेश्वर सिंह ने अखिलेश यादव के ट्वीट पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि जब खुद के घर में घोटालों की फसल लहलहा रही हो, तो दूसरों को नैतिकता की उपदेश देना हास्यास्पद है।