नई दिल्ली: पीलीभीत लोकसभा क्षेत्र से भाजापा सांसद वरुण गांधी अबकी बार लोकसभा चुनाव नहीं लड़ रहे हैं। उनके इस निर्णय से भाजपा संगठन खुश है और कहा जा रहा है कि उन्हें कोई बड़ी जिम्मेदारी देने की योजना बनाई जा रही है। बता दें कि अबकी बार पीलीभीत से भाजपा ने योगी सरकार में लोक निर्माण मंत्री जितिन प्रसाद को प्रत्याशी बनाया है।
पीलीभीत में पहले चरण में मतदान होना है। पहले कयास लगाए जा रहे थे कि वरुण गांधी सपा या फिर कांग्रेस में से किसी एक दल से लोकसभा का चुनाव लड़ सकते हैं। उन्होंने नामांकन पत्र भी खरीद लिया था।लेकिन, अब यह तय हो चुका है कि वह लोभसभा चुनाव नहीं लड़ेगें। वरुण अब सुल्तानपुर से बीजेपी के टिकट पर लोकसभा चुनाव लड़ रहीं अपनी मां मेनका गांधी के समर्थन में प्रचार करेंगे।
वरुण गांधी ने इस फैसले से भाजपा संगठन प्रसन्न है। यह माना जा रहा है कि उनके इस निर्णय के बाद बीजेपी उन्हें कोई बड़ी जिम्मेदारी दे सकती है। गौरतलब है कि सांसद रहते हुए वरुण गांधी ने मोदी सरकार की आलोचना खुली मंचों से की थी। साथ ही उन्होंने सोशल मीडिया पर भी सरकार के विरोध में कई पोस्ट डाली थीं।
जिसके बाद सरकार और भाजपा संगठन के बीच वरुण गांधी को लेकर असहज स्थिति उत्पन्न हो गई थी। पीलीभीत जिला संगठन के कार्यकर्ताओं ने वरुण गांधी के कार्यक्रमों से दूरी बना ली थी। इन्हीं सभी गतिविधियों को देखते हुए भाजपा शीर्ष नेतृत्व ने तीन बार के सांसद वरुण गांधी का अबकी बार टिकट काट दिया।
हालांकि, वरुण गांधी अब सुल्लानपुर से अपनी मां के समर्थन में प्रचार करेंगे। बता दें कि एक एक दौर था जब वरुण गांधी यूपी बीजेपी के कद्दावर नेता माने जाते थे। 2017 में जब भाजपा प्रचंड बहुमत के साथ यूपी विधानसभा चुनाव जीती, तो चर्चाओं में वरुण गांधी का भी नाम था। कई लोगों का मानना था, पार्टी उन्हें यूपी का सीएम बना सकती है। हालांकि, तब योगी आदित्यनाथ को प्रदेश की बागडोर सौंपी गई।
2019 में बीजेपी की केंद्र में फिर से सरकार बनीं। लेकिन, इस बार मेनका गांधी को केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किया है। लोगों को मानना था कि हो सकता है मेनका की जगह वरुण गांधी को मोदी मंत्रिमंडल में शामिल किया जाए, लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं हुआ। कहा जा रहा है इन्ही सभी गतिविधियों के चलते वरूण गांधी नाराज थे। अब कहा जा रहा है कि टिकट कटने के बाद भी वरुण गांधी अपनी मां के समर्थन में बीजेपी के लिए प्रचार करेंगे। जिससे बीजेपी संगठन वरुण गांधी के इस फैसले से खुश है।
जिससे यह माना जा रहा है कि उन्हें आने वाले समय में बीजेपी बड़ी जिम्मेदारी दे सकती है। इसका संकेत यूपी बीजेपी अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी ने पहले ही दे दिए हैं। पत्रकारों ने उनके एक कार्यक्रम के दौरान वरुण गांधी को लेकर सवाल किया तो उन्होंने कहा था कि वह हमारे पार्टी के नेता हैं। पार्टी को जहां लगेगा, वहां उनका उपयोग किया जाएगा।
वहीं, सुल्तानपुर से बीजेपी प्रत्याशी और वरुण गांधी की मां मेनका गांधी ने कहा है कि 3 बार के सांसद बेटे वरुण को टिकट ना मिलने पर उन्हें ना को कोई हैरानी है और ना ही कोई परेशानी। उन्होंने कहा कि मुझे भरोसा है कि वरुण जो भी करेंगे वह देश के लिए ही करेंगे। अब ऐसे में यह कयास लगाए जा रहे हैं कि वरुण गांधी को लेकर भाजपा शीर्ष नेतृत्व ने मेनका गांधी को कोई न कोई आश्वासन जरुर दिया होगा!