लखनऊ– राज्य सरकार द्वारा कृषि को समय के साथ टेक्नोलॉजी और नए तरीकों से जोड़कर किसानों को समृद्ध बनाने पर बल दिया जा रहा है। साथ ही स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं की आमदनी में इजाफा करने के उद्देश्य से मनरेगा के अभिसरण से प्रदेश के प्रत्येक जिले में दो हाइटेक नर्सरी बनाये जाने का कार्य भी किया जा रहा है। उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि इस योजना के क्रियान्वयन से कृषि और औद्यानिक फसलों को नये पंख लगेंगे। इसमें विशेष तकनीक का प्रयोग करके विभिन्न प्रजातियां के पौधों की नर्सरी तैयार की जा रही है।
उन्होंने कहा कि सरकार की मंशा है कि प्रदेश का हर किसान समृद्ध बने और बदलते समय के साथ किसान हाईटेक भी बन सके। जिसको लेकर किसानों को कई ऐसी योजनाओं से जोड़ा जा रहा है, जिससे किसानों का लाभ भी हो और उन्हें हाईटेक भी बनाया जा सके। हाईटेक नर्सरी के द्वारा किसानों को खेती के साथ-साथ बागवानी के लिए भी प्रोत्साहित किया जा रहा है।
इस योजना का उद्देश्य उन्नत नर्सरी से किसानों की आय में वृद्धि करना है, साथ ही उन्नत किस्म के पौधों को बढ़ावा देकर बागवानी क्षेत्र में रोजगार सृजन करना है। प्रत्येक नर्सरी मे 15 लाख पौधे तैयार किये जाने का लक्ष्य है। यही पौधे किसान ले सकेंगे, जिससे उनकी फसलों का उत्पादन बढ़ेगा और आय में वृद्धि होगी। हाईटेक नर्सरी की देख-रेख का जिम्मा दायित्व स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को सौंपा जा रहा है। इससे महिलाओं को भी आमदनी का जरिया मिल रहा है।
किसानों के लिए नर्सरी में हाईटेक टेक्नॉलाजी के द्वारा हर सीजन की सब्जियों की पौध तैयार करने की योजना है। इस योजना से किसानों को तो लाभ मिलेगा ही साथ ही इससे महिलाएं भी आत्मनिर्भर बनेंगी और प्रदेश में रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे। ग्राम्य विकास आयुक्त जी एस प्रियदर्शी ने बताया कि प्रदेश में उद्यान एवं मनरेगा कन्वर्जेंस के अंतर्गत 150 हाईटेक नर्सरी का निर्माण किया जा रहा है, जिसके सापेक्ष अभी तक कुल 125 हाईटेक नर्सरी की स्वीकृति जनपद स्तर पर दी जा चुकी है। जिसमें 22 जनपदों में 27 स्थान तय किए जा चुके हैं, जिन पर कार्य प्रारंभ किया जा चुका है।
इसके अतिरिक्त दो हाइटेक नर्सरियों का कार्य पूर्ण कर लिया गया है, जो कि बुलंदशहर में स्थापित हैं। उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने निर्देश दिए हैं कि हाईटेक नर्सरी में स्वयं सहायता समूहों की सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित की जाए।
Hi-tech nursery will increase farmers’ income