केंद्र सरकार ने अलगाववादी नेता शब्बीर अहमद शाह की जम्मू-कश्मीर डेमोक्रेटिक फ्रीडम पार्टी (JKDFP) पर पांच साल का प्रतिबंध लगा दिया है। आधिकारिक अधिसूचना के अनुसार, ये कार्रवाई राष्ट्र विरोधी और पाकिस्तान समर्थित गतिविधियों के चलते की गई है।
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गृह मंत्रालय में अतिरिक्त सचिव प्रवीण वशिष्ठ ने कहा कि शब्बीर शाह ने JKDFP का गठन भारत विरोध और पाकिस्तान समर्थक प्रोपेंगेंडा के लिए किया था। केंद्र सरकार का मत है कि JKDFP को तत्काल प्रभाव से गैरकानूनी संघ घोषित करना आवश्यक है। प्रतिबंध अधिसूचना आधिकारिक राजपत्र में प्रकाशन की तारीख से पांच साल की अवधि के लिए प्रभावी होगी, जो यूएपीए की प्रासंगिक धाराओं के तहत किए जा सकने वाले किसी भी आदेश के अधीन होगी।
गृह मंत्रालय ने कहा कि केंद्र सरकार की राय है कि यदि JKDFP की गैरकानूनी गतिविधियों पर तत्काल अंकुश या नियंत्रण नहीं किया गया तो वह इस अवसर का उपयोग अपनी राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों को जारी रखने, जम्मू-कश्मीर के अलगाव की वकालत करने के लिए करेगी। कानून से स्थापित सरकार को अस्थिर कर भारत संघ के क्षेत्र से एक इस्लामिक राज्य बनाने के प्रयास सहित अपनी विद्रोही गतिविधियों को बढ़ाना जारी रखेगी।
इस्लामी राज्य बनाना था मकसद
अधिसूचना में कहा गया है कि शाह ने कश्मीर को विवादित बताया था और भारत के संविधान के ढांचे के भीतर किसी भी समाधान से इन्कार किया था। उसकी पार्टी के सदस्य एक अलग इस्लामी राज्य बनाने के इरादे से अलगाववादी गतिविधियों में सबसे आगे रहे हैं। JKDFP के नेता या सदस्य आतंकवादी गतिविधियों का समर्थन करने और जम्मू-कश्मीर में सुरक्षाबलों पर निरंतर पथराव सहित गैरकानूनी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए पाकिस्तान तथा उसके प्रॉक्सी संगठनों सहित विभिन्न स्रोतों के माध्यम से धन जुटाने में शामिल रहे हैं।
आतंकी संगठनों से रखते हैं संबंध
अधिसूचना में कहा गया कि प्रतिबंधित आतंकी संगठनों के साथ JKDFP के संबंधों को दर्शाने वाले कई इनपुट मिले हैं। JKDFP और इसके सदस्य देश में आतंक का राज कायम करने के इरादे से हिंसक आतंकवादी गतिविधियों में शामिल रहे हैं, जिससे देश की सुरक्षा और सार्वजनिक व्यवस्था को खतरे में डाला जा रहा है। राज्य और उसकी राष्ट्र-विरोधी गतिविधियां राज्य की सांविधानिक सत्ता और संप्रभुता के प्रति अनादर और अवहेलना भी दर्शाती हैं, इसलिए संगठन के खिलाफ तत्काल और शीघ्र कार्रवाई की आवश्यकता है।
बता दें कि JKDFP पर प्रतिबंध का आदेश गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम के तहत दिया गया। जम्मू-कश्मीर के अलगाववादी नेता शब्बीर अहमद शाह ने 1998 में JKDFP का गठन किया था। य अलगाववादी संगठन हुर्रियत कॉन्फ्रेंस का एक घटक था। 2003 में हुर्रियत कॉन्फ्रेंस के विभाजन के बाद JKDFP सैयद अली शाह गिलानी के नेतृत्व वाले कट्टरपंथी गुट का हिस्सा बन गया था।
शब्बीर अहमद शाह फिलहाल दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद है। शब्बीर को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने 2005 के मनी लॉन्ड्रिंग मामले में 25 जुलाई, 2017 को गिरफ्तार किया था। उसके खिलाफ राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने आतंकी फंडिंग मामले में भी आरोप पत्र दायर किया है। पिछले साल नवंबर में ईडी ने केंद्र शासित प्रदेश में आतंकी गतिविधियों को बढ़ावा देने के मामले से जुड़ी मनी लॉन्ड्रिंग जांच के सिलसिले में उसके श्रीनगर स्थित घर को कुर्क किया था।