प्रयागराज: इस बार प्रयागराज में हो रहे महाकुंभ ने वहां के किसानों को उनके व्यवसाय में लाभ दिलाकर उन्हें खुशियों की सौगात दी है. महाकुंभ से वहां के करीब 10 हजार से अधिक स्थानीय किसानों को रोजगार प्राप्त हुआ है. इससे वहां के स्थानीय किसानों को लाखों रुपए की आय प्राप्त हो रही है, साथ ही जिले की अर्थव्यवस्था को भी मजबूती मिली है. वहीं, देश की कुछ दिग्गज व्यवसायिक कंपनियां भी महाकुंभ में स्टाल लगाकर अपने उत्पादों का प्रचार करने में जुटी हैं.
प्रदेश की GDP में और हो रही बढ़ोत्तरी
आने वाले श्रद्धालुओं के लिए बनाई जाने वाली महाप्रसादी के लिए स्थानीय किसानों से रोजाना भारी मात्रा में सब्जियां, अनाज, दूध और अन्य आवश्यक वस्तुएं खरीदी जा रही हैं. सीएम योगी आदित्यनाथ ने महाकुंभ शुरू होने से पहले कहा था कि अगर श्रद्धालुओं की संख्या 60 करोड़ के पार हो गई, तो यूपी की GDP 3.15 से 3.50 लाख करोड रुपए तक पहुंचने का अनुमान है. इधर महाकुंभ आने वाले श्रद्धालु अयोध्या और वाराणसी भी पहुंच रहे हैं. इससे उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था को और भी मजबूती मिली है.
महाकुंभ में प्रौद्योगिकी की भूमिका
महाकुंभ प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में काफी अहम भूमिका निभा रहा है. बात करें अगर भीड़ को नियंत्रित करने वाली प्रणाली, AI संचालित उपकरण, ड्रोन और ऐप की तो प्रशासन की ओर से इनका भरपूर लाभ लिया जा रहा है. भीड़ नियंत्रण प्रणाली तथा मोबाइल एप से मार्गों, घाटों और मौसम की वास्तविक जानकारी प्राप्त की जा रही है. इसके अलावा इन उपकरणों का उपयोग कुछ आपातकालीन सेवाओं के लिए भी किया जा रहा है. वहीं, महाकुंभ मेला स्थल को सौर ऊर्जा पैनल और नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों से रोशन किया जा रहा है.
उन्नत उपकरण से हो रहा नदियों के पानी का संशोधन
महाकुंभ में हरित पहल के तहत शून्य अपशिष्ट नीति को लेकर व्यापक रीसाइकिलिंग सिस्टम का उपयोग किया जा रहा है. साथ ही बायोडिग्रेडेबल विकल्पों के अलावा प्लास्टिक के उपयोग पर भी खासतौर से प्रतिबंध लगाया गया है. गंगा और यमुना की शुद्धता को बनाए रखने के लिए वहां काफी उन्नत किस्म के जल संशोधन उपकरण लगाए गए हैं. इसके अलावा नदी के जल का परीक्षण भी लगातार किया जा रहा है. वहीं, मेला क्षेत्र की करीब 10 हजार CCTV कैमरे और चेहरों की पहचान करने के लिए AI के सबसे उन्नत उपकरण का इस्तेमाल किया गया है.
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मोदी सरकार ने महाकुंभ के दौरान भारत को विकसित राष्ट्र बनाने और धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने का संकल्प भी लिया है. केंद्र सरकार का कहना है कि हम देश को विकसित भारत के लक्ष्य को पूरा करने और समृद्धि की ओर ले जाने में विश्व में अग्रणी होंगे. वहीं, महाकुंभ में स्थानीय छोटे व्यवसायियों के जीवन स्तर में भी काफी सुधार देखा गया है. सभी छोटे व्यापारी प्रत्यक्ष रूप से आर्थिक लाभ कमा रहे हैं. अगर कहा जाए कि महाकुंभ सभी स्थानीय बड़े-छोटे कारोबारियों के लिए रोजगार का सृजन किया है तो ये गलन नहीं होगा. महाकुंभ ने उन सभी को आर्थिक रूप से काफी सशक्त बना दिया है.