अयोध्या: भव्य और दिव्य मंदिर में विराजमान होने के बाद, पहली बार रामलला का तिलकोत्सव आयोजित हो रहा है. रामलला का तिलकोत्सव 18 नवंबर को होगा. इस ऐतिहासिक समारोह में रामलला की ससुराल नेपाल स्थित जनकपुर से 251 तिलकहरू (तिलक लेकर आने वाले) अयोध्या पहुंचेंगे. उनके साथ कई ट्रकों में भरकर नेग (वधू पक्ष से मिलने वाला उपहार) भी आएगा. इस समारोह में शामिल होने के लिए सीएम योगी को भी आमंत्रित किया गया है.
प्राण प्रतिष्ठा के बाद राम मंदिर में रामलला के विवाह से संबंधित यह पहला बड़ा उत्सव होगा. इसके साथ ही जनकपुर से श्रीराम और माता सीता के विवाह की रस्मों की तैयारी भी शुरू हो जाएगी. अयोध्या से रामलला की बारात जनकपुर को 26 नवंबर को जाएगी. जबकि भगवान राम और माता सीता का विवाह 6 दिसंबर (पंचमी तिथि) को होगा.
भगवान राम के तिलकोत्सव की तैयारियों को लेकर जनकपुर के जानकी मंदिर में बैठक आयोजित की गई. जिसमें संतोष साह, जानकी मंदिर के महंत राम तपेश्वर दास वैष्णव, विहिप नेपाल के उपाध्यक्ष रघुनाथ साह, जनकपुर के मेयर मनोज साह व अन्य स्थानीय वरिष्ठजन मौजूद रहे. बैठक में तय हुआ कि भगवान राम के तिलक में जनकपुर से अयोध्या 501 लकड़ी के बॉक्सों में परिधान, आभूषण, मिष्ठान, मेवा, फल और अन्य बेशकीमती सामान जाएगा.
तिलकहरू नेपाल से तिलक लेकर 16 नवंबर को अयोध्या के लिए प्रस्थान करेंगे. वह 17 नवंबर को अयोध्या पहुंचेंगे. सभी 17 नवंबर की रात्रि में गढ़ी माई में विश्राम करेंगे. इसके बाद 18 नवंबर को तिलकोत्सव का आयोजन किया जाएगा. विहिप का कहना है कि इस आयोजन से नेपाल और भारत के संबंधों को और मजबूती मिलेगी.
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26 नवंबर को अयोध्या से जनकपुर जाएगी राम बारात
तिलक के बाद 26 नवंबर को भगवान राम की बारात अयोध्या से जनकपुर (नेपाल) जाएगी. जिसके बाद 6 दिसंबर पंचमी तिथि को भगवान राम और सीता का विवाह होगा. विहिप के अनुसार, यह आयोजन प्रत्येक 5 वर्ष में एक बार होता है. इस बार का विवाह समारोह बहुत खास है, क्योंकि रामलला अपने भव्य मंदिर में विराजमान हो चुके हैं. विहिप की योजना है कि जैसे प्राण प्रतिष्ठा धूमधाम से हुई थी, वैसे ही रामलला का विवाह उत्सव भी धूमधाम के साथ मनाया जाएगा.