MP विधानसभा में मानसून सत्र के दूसरे दिन आज बहुचर्चित नर्सिंग घोटाले को लेकर सदन में खूब हंगामा हुआ। उपनेता प्रतिपक्ष हेमंत कटारे ने सदन में नर्सिंग घोटाले का मुद्दा उठाकर सत्तारूढ़ भाजपा सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि नर्सिंग काउंसिल के जरिए लंबे समय से फर्जी कॉलेजों को मान्यता दी जा रही है, जिस पर सरकार ने सिर्फ दिखावे के लिए कार्रवाई की। प्रदेश में स्वास्थ्य शिक्षा विभाग के आला अधिकारी ऐसे नर्सिंग कॉलेज चलाते पाए गए, जिनके पास कैंपस तक नहीं था। कुछ कॉलेज तो चंद कमरों में चलते पाए गए, जिसके बाद मध्य प्रदेश नर्सिंग काउंसिल ने 19 कॉलेजों की संबद्धता रद्द कर दी!
जबकि 66 कॉलेजों को पूरी तरह से बंद कर दिया गया। फिलहाल इस मामले की जांच CBI कर रही है। उपनेता प्रतिपक्ष हेमंत कटारे ने सदन में कहा कि नर्सिंग काउंसिल के तहत लंबे समय से फर्जी कॉलेजों को मान्यता दी जा रही है। यहां तक कि इन कॉलेजों में लाइब्रेरी और पर्याप्त स्टाफ तक नहीं हैं। उन्होंने कहा कि इन कॉलेजों में मानक के अनुसार बेड की संख्या भी नहीं है। नर्सिंग कॉलेज को मान्यता देने के लिए फर्जी फैकल्टी दिखाई गई। कई कॉलेजों में एक ही टीचिंग फैकल्टी का नाम दर्ज है। उन्होंने कहा कि कॉलेज को मान्यता देने के लिए फर्जी नर्सिंग स्टाफ बनाया गया और सरकार ने दिखावे के लिए कार्रवाई की।
उपनेता प्रतिपक्ष के बयान पर भाजपा नेता और प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री राजेंद्र शुक्ला ने कहा कि मामला अभी हाईकोर्ट में लंबित है। इस मामले में नर्सिंग काउंसिल ने ही कुल 66 कॉलेजों को बंद किया है। 19 कॉलेजों में डुप्लीकेट फैकल्टी के खिलाफ कार्रवाई की गई जिसमें 2 रजिस्ट्रार हटाए गए।
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