दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के निजी सहायक बिभव कुमार को कोर्ट से तगड़ा झटका लगा है। तीस हजारी कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका को खारिज कर दिया है।
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दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट में हुई सुनवाई
राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल के साथ हुई मारपीट मामले में गिरफ्तार बिभव कुमार की तरफ से दायर की गई जमानत याचिका पर दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट में सोमवार को सुनवाई हुई। इस दौरान स्वाति मालीवाल भी कोर्ट रूम में मौजूद थी। इस दौरान जब कोर्ट रूम में CM आवास का वीडियो दिखाया गया तो स्वाति मालीवाल सुनवाई के बीच में रो पड़ीं। उन्होंने बिभव की जमानत का विरोध करते हुए बड़ा आरोप लगाया। उन्होंने कोर्ट से कहा कि इनसे मुझे और मेरे परिवार को खतरा है।
बिभव कुमार के वकील हरी हरन ने सवाल किया कि स्वाति मालीवाल CM आवास में घुस गईं। वो जबरन घर में आकर ड्राइंगरूम में बैठ गईं। क्या कोई इस तरह से CM आवास में घुस सकता है? उन्होंने कहा, स्वाति के पास सीएम से मिलने का अपॉइंटमेंट नहीं था। वो सासंद हैं इसका मतलब ये नहीं कि वो कुछ भी कर सकती हैं। जिसपर दिल्ली पुलिस के वकील ने कहा कि मुख्यमंत्री का आवास सुरक्षा के लिहाज से बहुत सेंसेटिव होता है। अगर वहां कुछ हुआ तो उनकी तरफ से 112 नंबर पर कॉल क्यों नहीं की गई। सिर्फ स्वाति मालीवाल ने ही 112 पर कॉल किया।
कोर्ट ने बिभव कुमार की जमानत याचिका खारिज की
दिल्ली पुलिस की तरफ से पेश हुए वकील ने कोर्ट में दलील दी कि आप एक अकेली महिला को मार रहे हैं। CM आवास में उन्हें घसीटा गया, छाती गर्दन पर मारा गया क्या इससे उनकी मौत नहीं हो सकती? बिभव कुमार की सेवाएं समाप्त कर दी गई थीं फिर वहां पर उनके रहने का कोई अधिकार ही नहीं था। उन्होंने कहा कि स्वाति मालीवाल ने जानबूझ कर CM हाउस के ड्रॉइंग एरिया को चुना क्योंकि यहां पर कोई भी सीसीटीवी कैमरा नहीं है। दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद कोर्ट ने बिभव कुमार की जमानत याचिका खारिज कर दी।