दिल्ली, यूपी, बिहार, राजस्थान समेत 10 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने 30 जगहों पर छापेमारी की कार्रवाई की है। इन जगहों पर तलाशी के दौरान मोबाइल फोन, कंप्यूटर हार्ड ड्राइव, सिम कार्ड, एटीएम कार्ड और विभिन्न आपत्तिजनक दस्तावेजों सहित अहम डिजिटल साक्ष्य जब्त किए गए हैं।
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30 जगहों पर छापेमारी की कार्रवाई
दरअसल ये कार्रवाई ऐप आधारित धोखाधड़ी वाली निवेश योजना से संबंधित मामले की जांच को लेकर चल रही है। बुधवार को सीबीआई ने दिल्ली, उत्तर प्रदेश, बिहार और राजस्थान के अलावा मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, ओडिशा, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और कर्नाटक में 30 स्थानों पर एक साथ छापेमारी की है।
अधिकारियों ने बताया कि सीबीआई ने एचपीजेड टोकन ऐप से जुड़ी धोखाधड़ी वाली निवेश योजना में केस दर्ज करने के बाद 10 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में 30 जगहों पर तलाशी की कार्रवाई की है। एजेंसी ने आरोप लगाया है कि इस योजना में गैर-मौजूद क्रिप्टो-मुद्रा खनन मशीन किराये में निवेश करने के लिए जनता को गुमराह करना शामिल है।
कई डिजिटल उपकरण जब्त
अधिकारियों के अनुसार दो निजी कंपनियों,, शिगू टेक्नोलॉजी प्राइवेट लिमिटेड और लिलियन टेक्नोकैब प्राइवेट लिमिटेड, उनके निदेशकों के साथ मामले में केस दर्ज किया गया था। इसके बाद CBI ने छापेमारी की कार्रवाई करते हुए दिल्ली-एनसीआर समेत कई जगहों पर लैपटॉप, मोबाइल फोन, एटीएम कार्ड के अलावा बड़ी संख्या में ईमेल खाते और डिजिटल उपकरणों को जब्त किया है।
सीबीआई का आरोप है कि एचपीजेड एक ऐप-आधारित टोकन है, जो उपयोगकर्ताओं को बिटकॉइन और अन्य क्रिप्टो मुद्राओं के लिए खनन मशीनों में निवेश करके लाभ के वादे करते हैं। जालसाजों ने कथित तौर पर एक ऐसी कार्यप्रणाली का इस्तेमाल किया, जो पीड़ितों को बिटकॉइन खनन में उनके निवेश पर भारी रिटर्न के बहाने एचपीजेड टोकन ऐप में निवेश करने के लिए लुभाने का प्रयास करता था।
फिलहाल इस मामले में अब तक की जांच में निवेशकों से धन इकट्ठा करने के लिए इस्तेमाल किए गए आरोपियों से संबंधित 150 बैंक खातों का पता चला है।