बेंगलुरु के रामेश्वरम कैफे ब्लास्ट मामले में दोनों आरोपियों अब्दुल मतीन ताहा और मुसाविर हुसैन शाजिब को 10 दिन की हिरासत में भेज दिया गया है। शनिवार 13 अप्रैल को दोनों आरोपियों को बेंगलुरु की स्पेशल NIA कोर्ट में पेश किया गया था, जहां से दोनों को हिरासत में भेज दिया गया है। कोर्ट लाने से पहले दोनों का मेडिकल हुआ था।
12 अप्रैल को पश्चिम बंगाल से गिरफ्तार हुए थे ताहा और शाजिब
बता दें कि 12 अप्रैल को पश्चिम बंगाल के पुरबा मेदिनीपुर से दोनों को गिरफ्तार किया गया था। NIA के मुताबिक, 1 मार्च को शाजिब ने रामेश्वरम कैफे में IED रखा था, जबकि ताहा ने इसका पूरा प्लान तैयार किया था। NIA ने 5 अप्रैल को बताया था, कि मुसाविर हुसैन शाजिब मुख्य आरोपी और अब्दुल मतीन ताहा सह-आरोपी है। दोनों ही कर्नाटक के शिवमोगा के तीर्थहल्ली के रहने वाले हैं। ताहा और शाजिब का एक वीडियो भी सामने आया है,, जिसमें वे कोलकाता ड्रीम गेस्ट हाउस में 23 मार्च को होटल बुक करते हुए नजर आ रहे हैं।
क्या है पूरा मामला ?
ब्लास्ट के बाद हुई जांच के दौरान CCTV फुटेज में दिखा कि दो मार्च को मास्क लगाए हुए एक व्यक्ति कैफे के पास बस से उतरता है और कैफे में जाता है। 25-30 साल का आरोपी एक बैग लेकर कैफे में घुसता दिखाई पड़ता है। कैफे में उसने इडली ऑर्डर की और काउंटर पर पेमेंट करके टोकन लिया। इसके बाद वो बैग को डस्टबिन के पास रखकर चला जाता है। एक घंटे बाद इसी बैग में रखे टाइमर के जरिए धमाका हो जाता है। इस घटना में 10 लोग घायल हो गए थे।
NIA ने 26 मार्च को चिकमंगलुरु के रहने वाले मुजम्मिल शरीफ को भी गिरफ्तार किया था। मुजम्मिल ने मुसाविर हुसैन शाजिब और अब्दुल मतीन ताहा को ब्लास्ट से जुड़ा सामान मुहैया कराया था। मुजम्मिल को पकड़ने के लिए NIA ने तीन राज्यों कर्नाटक, तमिलनाडु और उत्तर प्रदेश में 18 जगहों पर छापेमारी की थी। तलाशी के दौरान कुछ कैश के साथ कई डिजिटल डिवाइस भी जब्त किए गए थे।29 मार्च से दोनों पर 10 लाख रुपए का इनाम घोषित था। NIA के मुताबिक ताहा और शाजिब दोनों ही ISIS मॉड्यूल का हिस्सा हैं।