53 विभागों की 588 परियोजनाओं की जानकारी एक क्लिक पर मिलेगी
लखनऊ- अब प्रदेश भर की परियोजनाओं की मॉनिटरिंग एक साथ की जा सकेगी। सी.एम. कार्यालय प्रदेश की 53 विभागों की 588 परियोजनाओं की लाइव जानकारी प्राप्त कर सकेगा। इसमें योजनाओं की वास्तविक प्रगति और आंकड़ों की जांच से लेकर जनता से सीधे संवाद तक की सुविधा उपलब्ध होगी। रविवार को एनेक्सी भवन में सी.एम. योगी ने इन विशेष सुविधाओं से युक्त डैशबोर्ड और कमांड सेंटर का लोकार्पण किया।
सी.एम. डैशबोर्ड की विशेषताएं
- 53 विभागों की परियोजनाएं डैशबोर्ड से जोड़ी गईं
- 100 से अधिक मानकों पर होगी डी.एम. मंडलायुक्त की रैंकिंग ग्रेडिंग
- विकास प्राधिकरण, नगर निगम, बिजली विभाग की हर महीने रैंकिंग
- वीडियोकॉल कॉन्फ्रेंसिंग और संवाद व कॉल सेंटर की सुविधा
- आंकड़ों की निगरानी व समीक्षा, लाभार्थियों की सीधी प्रतिक्रिया की सुविधा
- अगले चरण में सभी 93 विभागों को डैशबोर्ड से जोड़ा जाएगा
- 15 दिन में मुख्य सचिव और हर महीने सी.एम. के स्तर पर आंकड़ों की समीक्षा
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कमांड सेंटर के माध्यम से मेरठ के रैपिड रेल ट्रांसपोर्ट सिस्टम(आर.आर.टी.एस.), कानपुर मेट्रो, चित्रकूट के जल जीवन मिशन और प्रयागराज में उच्च न्यायालय की सुरक्षा के विषय में अधिकारियों से जानकारी ली। उन्होंने अधिकारियों को कड़े निर्देश देते हुए कहा कि पिछले 3 दिन से जनता दर्शन में लोगों से बातचीत हो रही है, दूर दूर से लोग आ रहे हैं, उनके आने जाने और रुकने में पैसे खर्च होते होंगे। जब मैं गोरखपुर जाता हूं तो वहां भी प्रदेश भर से लोग आते हैं। अधिकांश लोगों की समस्याएं थाना, तहसील, स्वास्थ्य और शिक्षा से जुड़ी होती हैं। ऐसी समस्याओं का समाधान जनपद स्तर पर ही हो जाना चाहिए। लोगों से बातचीत में पता चलता है कि जनता को राजनैतिक नेतृत्व पर तो पूरा भरोसा है लेकिन प्रशासन स्तर पर उनके मन में आशंका का भाव रहता है। अधिकारियों को इस विषय में सोचकर समाधान खोजना होगा।
जहां तैनाती वहीं हो निवास- सी.एम. ने कहा कि ध्यान रखें कि डैशबोर्ड पर आने वाले आंकड़े सही हों। यहां हर महीने समीक्षा से पता चल जाएगा कि किसकी ग्रेडिंग क्या है, डेटा वेरिफाई भी किया जाएगा इसलिए इसे सही और समयबद्ध रखें। अधिकारी ध्यान रखें कि उनकी प्रथमिकता व्यक्तिगत सुविधा न होकर जनता की सेवा होनी चाहिए, इसलिए निवास वहीं रखें जहां पर तैनाती हो। कुछ लोग जानबूझ कर ऐसी हरकतें करते हैं ताकि शासन की छवि धूमिल हो। ऐसे में हम ज़ीरो टॉलरेंस की नीति अपनाएंगे।