Lucknow News: उत्तर प्रदेश भारत का पहला ऐसा राज्य बन गया है, जिसने
गरीबों और बुजुर्गों को आधार के जरिये पेंशन भुगतान किया है। प्रदेश में चालू वित्त वर्ष में 47 लाख
से अधिक वृद्धों को आधार
बेस्ड पेमेंट सिस्टम से जोड़ा गया है। इन प्रयासों
के चलते केंद्र सरकार की परफॉर्मेंस रिव्यू कमेटी ने भी प्रदेश की सराहना की है।
उत्तर प्रदेश
में वृद्धावस्था पेंशन के 54 लाख 97 हजार लाभार्थी हैं। इनमें से 4722613 वृद्धों
की पेंशन में केंद्र का भी अंशदान है। शेष वृद्धों को राज्य सरकार अपने संसाधनों
से पूरी पेंशन देती है। इस योजना में लाभार्थियों को 1000 रुपये प्रति माह की दर
से आर्थिक सहायता दी जाती है।
इसमें 200 रुपये केंद्र सरकार का अंशदान है।
यह भी पढ़ें:- वाराणसी के फूल अब विदेशों मे फैलाएंगे सुगंध, पहली बार किसानों ने गेंदे के फूल का निर्यात UAE किया
जबकि 80 साल या उससे अधिक उम्र होने पर
केंद्र सरकार 500 रुपये देती है। प्रदेश में 4722613 वृद्धों के बैंक खातों को
आधार के साथ जोड़ा जा चुका है। शेष खातों को भी आधार के साथ जोड़ने का काम तेजी से कराया जा रहा है।
पिछले दिनों दिल्ली
में केंद्रीय परफॉर्मेंस रिव्यू कमेटी की बैठक सपन्न हुई। जिसमें गरीब वृद्धों को पेंशन भुगतान के इस मॉडल
को अन्य राज्यों के सामने भी रखा गया।
बैठक
के दौरान केंद्रीय ग्राम्य विकास विभाग के आर्थिक सलाहकार प्रवीन महतो ने कहा
कि उत्तर प्रदेश एक बहुत बड़ा राज्य हैं।
जिसने आधार बेस्ट पेमेंट की पहल की है। जिसके तहत लाभार्थियों के खाते में सीधे पैसा
पहुंचता है। यह बहुत ही सराहनीय पहल है। उत्तर प्रदेश के अलावा अन्य राज्यों को भी
इसे जल्द अपनाना चाहिए।
यह भी पढ़ें:- अयोध्या में 4 लाख गांवों के भक्त राम मंदिर निर्माण में बने सहयोगी, आम जनमानस ने दी समर्पण निधि