Demographic Change: आपने देखा होगा कि आपके आसपास मुस्लिमों की आबादी तेजी के साथ बढ रही है. जबकि वहां रहने वाले हिंदू परिवार पलायन कर रहे हैं. भले ही आपने इस डेमोग्राफी चेंज के पीछे के कारणों को जानने की कोशिश नहीं की हो, लेकिन यह सब कुछ एक सुनियोजित तरीके से चल रहा है. जिसकी आंच एक न एक दिन आप पर भी आनी है. अभी भले ही आप इन बातों को गंभीरता से न लें, लेकिन हम ऐसे ही पिछले कुछ दिनों में घटित घटनाओं का जिक्र करने वाले हैं… जिनके बारे में जानकर आप अपने व बच्चों के भविष्य के बारे में सोचने पर मजबूर हो जाएंगे.
पहली घटना भोपाल की है, यहां 18 फरवरी को न्यू मार्केट स्थित जामा मस्जिद इलाके में, हिंदू दुकानदारों से मुस्लिमों ने यह कहकर दुकानें खाली करवा ली कि यह जमीन वक्फ की है. यहां सिर्फ मुस्लिम ही काम कर सकते हैं. जिसके बाद हिंदुओं को दुकान और मकान दोनों छोड़ने के लिए मजबूर होना पड़ा.
इससे पहले 13 जनवरी, 2025 को अलीगढ़ जिले के केपुर कोटा गांव में भी…एक हिंदू दलित परिवार ने, मुस्लिमों के उत्पीड़न के चलते अपने घर पर ‘मकान बिकाऊ है’ का पोस्टर लगाया था. इसी तरह, मध्य प्रदेश के इंदौर में भी मुस्लिम युवकों की धमकियों से परेशान एक हिंदू परिवार को अपने घर पर ‘मकान बिकाऊ है’ का पोस्टर चिपकाया पलायन करना पड़ा.
बीती 4 जनवरी 2025 को मुजफ्फरनगर में एक हिंदू महिला को पड़ोसी मुस्लिम परिवार के दबाव के चलते पलायान करना पड़ा. महिला ने पुलिस को शिकायत देकर बताया कि उसका मकान मुस्लिम परिवार के साथ साझा दीवार पर बने होने के कारण…खतरनाक हो गया है. उनके पड़ोसी मुस्लिम लगातार उस पर धर्म परिवर्तन करने या फिर मकान बेचकर जाने का दबाव बना रहे हैं.
हिंदू परिवारों के पलायन का यह सिलसिला यहीं नहीं रुकता. 27 दिसंबर 2024 को गुजरात के अहमदाबाद के मुस्लिम बाहुल्य अनादेज गांव में भी हिंदू परिवारों को पलायन करने के लिए मजबूर होना पड़ा था. मुस्लिम उपद्रवियों ने हिंदुओं का उत्पीड़न, महिलाओं के साथ छेड़छाड़ और सार्वजनिक स्थानों पर कब्जा कर लिया था.
18 नवंबर, 2024 को इंदौर निवासी राजेश कलमोदिया को अपने परिवार के साथ पलायन करने पर मजबूर होना पड़ा. उन्होंने आरोप लगाया कि उनके पड़ोस में रहने वाले मुस्लिमों ने एक पुराने मामले को वापस लेने का दबाव बनाया. जब उन्होंने मनाकर दिया तो घर की छत पर मुस्लिमों ने पटाखे फेंके और धमकाया.
1 नवंबर, 2024 को यूपी के कुशीनगर निवासी सच्चिदानंद पांडेय को अपने पर पलायन का पोस्ट चिपकाना पड़ा. उनके घर के बाहर मुस्लिम जबरन कूड़ा डालते थे. वहीं, मुस्लिम ग्राम प्रधान जैनुद्दीन अंसारी ने भी पांडेय के दरवाजे से होकर नाली का निर्माण शुरू करवा दिया था. इसी प्रकार बीते साल 27 अक्टूबर को हरियाणा के बल्लभगढ़ में भी दिवाली के दिन दीया और पटाखों से नाराज होकर मुस्लिमों ने हिंदू परिवारों पर लाठी-डंडों और पेट्रोल बम से हमला कर दिया.
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यह घटनाएं महज बानगी भर हैं. क्योंकि हमने वीडियो में कुछ प्रमुख घटनाओं का जिक्र किया है. हिंदुओं के पलायन की बहुत ऐसी भी घटनाएं हैं…जो सबके सामने नहीं आ पाती. हैरान करने वाली बात यह है कि जिस देश के संविधान में सभी धर्मों को समान माना गया है. सभी के लिए समान नियम और कानून हैं. फिर भी जहां मुस्लिमों की संख्या बढ़ती है, वहां यह सभी नियम कानून धरे के धरे रह जाते हैं. मुस्लिम बाहुल्य क्षेत्रों से हिंदू लगातार पलायन कर रहे हैं. जिसके चलते देश की डेमोग्राफी चेंज होती जा रही है. लेकिन इस समस्या के समाधन पर कोई विचार नहीं हो रहा.