लखनऊ- सीएम योगी आदित्यनाथ ने आज शुक्रवार को राजधानी लखनऊ में आयोजित प्राकृतिक खेती के विज्ञान पर क्षेत्रीय परामर्श कार्यक्रम को संबोधित किया। इस दौरान सीएम ने कहा कि देश के एक राज्य में कृषि कार्य में अत्यधिक फर्टिलाइजर के उपयोग का हश्र ये हुआ कि वहां से आज ‘कैंसर ट्रेन’ चलानी पड़ रही है। हरित क्रांति से कृषि उत्पादन तो बढ़ा, लेकिन ये आधा-अधूरा सच है। आज फर्टिलाइजर की अधिकता के कारण एक ‘धीमा जहर’ हमारी धमनियों में घुस रहा है। ये दुष्प्रभाव केवल मनुष्यों पर ही नहीं बल्कि पशु-पक्षियों पर भी इसका सीधा असर पड़ता है। वे भी इससे बुरी तरह प्रभावित हो रहे हैं।
सीएम ने इस बात पर जोर दिया कि हमें बीज से लेकर बाजार तक कृषि उत्पादों के प्राकृतिक स्वरूप को बनाए रखना होगा। सीएम ने कहा कि यूपी में जल्द ही एक कृषि विश्वविद्यालय को प्राकृतिक खेती के लिए समर्पित किया जाएगा। सीएम ने कहा कि हरित क्रांति का लाभ अन्न उत्पादन क्षमता को बढ़ाने में हुआ है, मगर ये अधूरा सच है। हमें 17वीं और 18वीं सदी में भारत के उन प्रांतों में प्राकृतिक खेती से होने वाले उत्पादन दर को भी देखना होगा, जब धरती अपने प्राकृतिक स्वरूप में थी और अन्न उत्पादन भी अधिक था। सीएम योगी ने कहा कि हमें खेती को लेकर पिछले सौ-डेढ़ सौ वर्ष में जो पढ़ाया गया है।
उसमें और पुराने समय के विज्ञान में कितना अंतर है। हमें इतिहास के पन्नों को दोबारा पलटना होगा। हरित क्रांति के बाद जब खेती में फर्टिलाइजर का उपयोग हुआ तो कुछ समय तक उत्पादन बढ़ा, लेकिन आज एक स्लो प्वाइजन के रूप में वह हमारी धमनियों में घुसता जा रहा है। फर्टिलाइजर वाला चारा गाय भी बर्दाश्त नहीं कर पा रही हैं। सीएम योगी ने कहा कि फर्टिलाइजर का दुष्प्रभाव सिर्फ मनुष्यों में ही नहीं बल्कि पशु-पक्षी भी इससे बुरी तरह प्रभावित हुए हैं।
अमरोहा में निराश्रित गोवंश आश्रय स्थल में 12 से 14 गायों की अचानक मौत हो गई। जब हमने वहां विशेषज्ञ भेजे तो ये पता लगा कि चारे में बड़े पैमाने पर फर्टिलाइजर मिला था, जिसके कारण गायों की मौत हुई। हमें समझना होगा कि जब गाय अत्यधिक फर्टिलाइजर को बर्दाश्त करने की स्थिति में नहीं है तो मनुष्य की स्थिति क्या होगी। सीएम योगी ने कहा कि उनके पास ‘मुख्यमंत्री राहत कोष’ से इलाज के लिए बड़ी संख्या में लोग धन की मांग करते हैं, इसमें सबसे अधिक मामले कैंसर के होते हैं।
आज से कुछ वर्षों पहले इतनी भयावह स्थिति नहीं थी। लेकिन आज गांव-गांव में युवाओं में कोई किडनी, कोई हार्ट तो कोई कैंसर से पीड़ित हो रहा है। इसका कारण है कि हमारा खानपान कहीं न कहीं प्रभावित हुआ है। जिसने नई-नई बीमारियों को जन्म दिया। इससे बचाव का नया मंत्र पीएम मोदी ने प्राकृतिक खेती का दिया है। सीएम ने कहा कि हमें बीज से लेकर बाजार तक कृषि उत्पादों के प्राकृतिक स्वरूप को बनाए रखना होगा। यूपी में इसके लिए बड़ी संभावना है।
हमारे पार देश की 12% भूमि है। हम देश के खाद्यान का 20 प्रतिशत उत्पादन करते हैं। हमारे पास पर्याप्त जल संसाधन भी मौजूद है। हमें आज की आवश्यकता के अनुरूप उस क्वालिटी पर विशेष ध्यान देना होगा जो हमारे हैपिनेस इंडेक्स को ऊंचाई पर पहुँचा सके। सीएम ने कहा यूपी सरकार ने इस दिशा में कार्य प्रारंभ किया है। हमारे पास अभी 4 कृषि विश्वविद्यालय हैं, पांचवां बनने जा रहा है। 89 कृषि विज्ञान केंद्र हैं और 2 केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय हैं।
सीएम ने कहा हमने कह रखा है कि प्राकृतिक खेती से जो भी प्रोडक्ट आता है, उसके सर्टिफिकेशन के कार्यक्रम को तेज गति से आगे बढ़ाना है। बीज से इसकी शुरुआत हो और बाजार तक पहुंचने पर अच्छा दाम मिल सके। हम ऐसी व्यवस्था कर रहे हैं। हमने प्रदेश के कृषि विश्वविद्यलयों को कह दिया है कि सर्टिफिकेशन लैब्स को अपग्रेड कीजिए, धन सरकार देगी।
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