बाराबंकी के रामसनेहीघाट इलाके में एक मठ की जमीन का फर्जी तरीके से बैनामा हो जाने पर वहां के साधुओं में खासी नाराजगी है। तहसील प्रशासन से कई बार शिकायत होने के बावजूद कार्रवाई ना होने से खफा मठ का एक साधु समाधि लेने के लिए अपनी खुद की कब्र खोद रहा है। साधु का कहना है कि अगर इस मामले में 30 अगस्त तक कार्रवाई नहीं हुई, तो वह 1 सितंबर को समाधि ले लेगा।
दरअसलस रामसनेहीघाट के किठाईया गांव में बने एक मठ के साधु का आरोप है कि कुछ लोगों ने राम जानकी मठ किठाईया की फर्जी वसीयत करवाकर मठ की जमीन को बेच दिया है। मठ के साधु को जब फर्जी तरीके से जमीन बिक्री हो जाने की सूचना हुई तो उन्होंने इस मामले में कार्रवाई को लेकर अधिकारियों से न्याय की गुहार लगाई और मुकदमा दर्ज कराया। काफी दिनों से भाग दौड़ कर रहे साधु ने इस मामले में कार्रवाई को लेकर गृह मंत्रालय, मुख्यमंत्री पोर्टल सहित जिला स्तरीय अधिकारियों से न्याय की गुहार लगाई। कहीं से कोई मदद न मिलने के चलते साधु अब समाधि लेने के लिए खुद की कब्र खोद रहा है। साधु का कहना है कि यदि इस मामले में 30 अगस्त तक कोई कार्रवाई नहीं हुई तो वह 1 सितंबर को समाधि ले लेगा। अभी तक इस पूरे मामले में अधिकारियों का कोई बयान सामने नहीं आया है।