डूंगरपुर- जिले के पुनाली गांव निवासी भावेश जोशी (28) दुनिया से जाते-जाते चार लोगों को नया जीवन दे गए। पिछले दिनों ब्रेन हेमरेज होने के कारण अहमदाबाद के सिविल अस्पताल में उनका उपचार चल रहा था, लेकिन उन्हें ब्रेन डेड घोषित किया गया। जिसके बाद रविवार को परिजनों की ओर से अंगदान की स्वीकृति दी गई, जिस पर उनकी दो किडनी, हृदय और लिवर का दान किया गया। सिविल अस्पताल में भावेश जोशी 133वें ब्रेन डेड अंगदाता बने हैं। डूंगरपुर जिले के पुनाली गांव के मूलनिवासी भावेश जोशी को लगातार सिर में दर्द की शिकायत थी। गत 20 सितम्बर को इस स्थिति के चलते उन्हें दिमागी दौरा पड़ा था, जिसके उपचार के लिए सिविल अस्पताल लाया गया। चिकित्सकों द्वारा तीन दिनों तक गहन उपचार के बाद ब्रेन का विशेष टेस्ट किया गया जिसके बाद भावेश को ब्रेन डेड घोषित कर दिया गया। मानवीय सेवा की भावना से भावेश के परिजनों ने अंगदान करने की इच्छा जाहिर की जिससे भावेश जोशी के चार अंगों का दान किया गया। अहमदाबाद के सिविल अस्पताल स्थित रीट्राइवल सेंटर में मिले चार अंगों में से हृदय को ग्रीन कॉरिडोर के माध्यम से मरेंगो सिम्स अस्पताल ले जाया गया जहां जरूरतमंद मरीज में भावेश के हृदय का ट्रांसप्लांट किया गया। इसके अलावा दो किडनी और लिवर का ट्रांसप्लांट सिविल अस्पताल कैंपस स्थित इंस्टीट्यूट ऑफ किडनी डिजिज एंड रिसर्च सेंटर में किया गया। अहमदाबाद के सिविल अस्पताल में भावेश जोशी के परिजनों की ओर से किए गए अंगदान से चार लोगों को नया जीवन मिला है। अस्पताल में अब तक 133 ब्रेन डेड दाताओं की ओर से 429 अंग दान में मिल चुके हैं इनके माध्यम से 412 लोगों को नया जीवन मिल चुका है।