दिल्ली के राऊज एवेन्यू कोर्ट के सत्र न्यायालय ने कथित रेप मामले में एडिशनल मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट की ओर से BJP नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री शाहनवाज हुसैन के खिलाफ जारी समन पर रोक लगा दी है। सत्र न्यायालय ने इस मामले के शिकायतकर्ता महिला को नोटिस जारी कर 8 नवंबर तक जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया है। शाहनवाज हुसैन ने अपने खिलाफ जारी समन को सेशंस कोर्ट में चुनौती दी है।
एडिशनल चीफ मेट्रोपोलिटन वैभव मेहता ने 11 अक्टूबर को समन जारी करते हुए शाहनवाज हुसैन को 20 अक्टूबर को कोर्ट में पेश होने का आदेश दिया था। वैभव मेहता ने इस मामले में दिल्ली पुलिस के कैंसिलेशन रिपोर्ट को खारिज करते हुए भारतीय दंड संहिता की धारा 376, 328 और 506 के तहत आरोपों पर संज्ञान लेते हुए समन जारी करने का आदेश दिया था। इस मामले की शिकायतकर्ता महिला ने दिल्ली पुलिस के कैंसिलेशन रिपोर्ट का विरोध करते हुए अर्जी दाखिल की थी। एडिशनल मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट ने शिकायतकर्ता की विरोध अर्जी को स्वीकार करते हुए नोटिस जारी किया था।
शाहनवाज हुसैन पर आरोप है कि अप्रैल, 2018 में वे शिकायतकर्ता महिला को एक फार्म हाउस में ले गए। फार्म हाउस में महिला को नशीली चीज देकर उसके साथ रेप करने का आरोप है। महिला के मुताबिक शाहनवाज हुसैन ने घटना का वीडियो बनाया और किसी को बताने पर बुरे अंजाम की धमकी दी। महिला ने कहा कि इस मामले में दिल्ली हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद एफआईआर दर्ज की गयी।
राऊज एवेन्यू कोर्ट ने कहा कि ऐसी कोई वजह नहीं है कि शिकायतकर्ता के आरोपों को खारिज कर दिया जाए। कोर्ट ने कहा कि महिला के बयान सही हैं या गलत ये कोर्ट में ट्रायल के बाद ही पता चल पाएगा। इसलिए पुलिस की ये दलील सही नहीं है कि शिकायतकर्ता के बयानों में विरोधाभास है। बयान में हल्के विरोधाभास को आधार बनाकर संपूर्ण शिकायत को खारिज नहीं किया जा सकता है।
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