Kanpur News: उत्तर प्रदेश के कानपुर जनपद में डिफेंस कॉरिडोर बनकर तैयार है। सोमवार को सीएम योगी आदित्यनाथ ने डिफेंस कॉरिडोर का उद्घाटन किया। इस मौके पर उन्होंने कहा कि अब प्रदेश के डिफेंस कॉरिडोर के सभी 06 नोड्स देश को रक्षा उत्पादन के मामले में आत्मनिर्भर बनाने में जुट गए हैं।
सीएम ने कहा कि 2017 से पहले प्रदेश में युवाओं के हाथों में तमंचे रहा करते थे, लेकिन अब उन्हीं युवाओं के हाथों में टैबलेट है। देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से कार्यक्रम में जुड़े। सीएम योगी के साथ थल सेना अध्यक्ष मनोज पाण्डेय भी मौजूद रहे। बता दें कि फैक्ट्री में कार्बाइन, पिस्टल, स्नाइपर राइफल जैसे 41 हथियार बनाए जाएंगे।
यहां पर हथियार बनाने की तकनीक इजरायल से लाई गई हैं।
देश के प्रमुख निजी क्षेत्र के रक्षा निर्माता अदाणी डिफेंस एंड एयरोस्पेस के आयुध और मिसाइलों के निर्माण के लिए दो मेगा प्लांट्स में मार्च से उत्पादन शुरू होगा। निजी क्षेत्रों में अपनी तरह का यह पहला अत्याधुनिक प्लांट्स रक्षा के क्षेत्र में देश की आत्मनिर्भरता और तकनीकी प्रगति में महत्वपूर्ण योगदान देंगा।
डिफेंस कॉरिडोर में कम रेंज की मिसाइले, हल्के एयरक्राफ्ट, तोप, AK-47, कार्बाइन, स्नाइपर रायफल समेत 41 तरह के हथियार बनाए जाएंगे। इसमें इजरायल की तकनीकि का इस्तेमाल किया जाएगा।
अडानी समूह की ओर से जारी की गई जानकारी के अनुसार, यहां पूरी तरह से ऑटोमेटेड प्लांट में तीनों सेनाओं और पैरामिलिट्री फोर्स के लिए जरूरी हथियार बनाए जाएंगे।
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मेक इन इंडिया के तहत उत्तर प्रदेश में डिफेंस कॉरिडोर लखनऊ, आगरा, अलीगढ़, झांसी, चित्रकूट के साथ कानपुर को दिया गया है। पहले चरण में कानपुर नोड के लिए 222 हेक्टेयर जमीन चिन्हित की गई थी। अधिकारियों ने बताया कि ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में कानपुर नोड के लिए 21 MOU साइन किए गए। इनमें 9 हजार 729 करोड़ रुपए का निवेश होगा।
इन फैक्ट्रियों में करीब 17 हजार लोगों को रोजगार मिलेगा। निवेश करने वाली कंपनियों में अडानी डिफेंस सिस्टम, जेनसर एयरोस्पेस, अनंत टेक्नोलॉजी और एंड्योर एरोसिस्टम्स प्रमुख हैं।
सीएम योगी ने कहा कि यह देश के लिए गर्व का क्षण है। यह प्लांट प्रदेश के एक औद्योगिक बिजलीघर में परिवर्तन लाने और पीएम नरेंद्र मोदी की ‘आत्मनिर्भर भारत’ पहल के प्रति हमारी प्रतिबद्धता का सार्थक प्रमाण है।
अदाणी डिफेंस एंड एयरोस्पेस को उत्तर प्रदेश डिफेंस कॉरिडोर में सबसे बड़ा निवेश करने का श्रेय जाता है। भूमि आवंटन के 18 महीने के अंदर परिचालन शुरू हो चुका है जो बेहद उत्साहजनक है।
मिसाइलों एवं आयुध में आत्मनिर्भरता की जरूरत-
थल सेनाध्यक्ष जनरल मनोज पांडेय ने मिसाइलों और आयुध में आत्मनिर्भरता की आवश्यकता पर बल देते हुए कहा कि हाल की भू-राजनीतिक घटनाएं लंबे समय तक चलने वाले संघर्ष की तैयारी के लिए आयुध के लिए आंतरिक स्रोतों से विश्वसनीय आपूर्ति समय की सबसे महत्वपूर्ण मांग है।
इतने बड़े निवेश और महत्वपूर्ण टेक्नोलॉजी को स्वदेशी बनाने के लिए अदाणी डिफेंस और एयरोस्पेस की यह पहल उपयोगकर्ताओं में रणनीतिक सैन्य आपूर्ति के लिए भारतीय निजी उद्योग पर विश्वास उत्पन्न करने का काम करेगी।
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