लखनऊ; योगी सरकार के आदेश के अनुसार, आज सोमवार (30 सितंबर) तक सरकारी कर्मचारियों को अपनी चल-अचल संपत्ति का विवरण जमा करने का आखिरी दिन है. पहले समय सीमा अगस्त 2024 तक निर्धारित की गई थी. हालांकि, बाद में इसे बढ़ाकर 30 सितंबर 2024 कर दिया गया था. सरकार की सख्ती के बाद भी…अभी तक प्रदेश के 52 हजार कर्मचारियों ने अपनी चल-अचल संप्पति का ब्यौरा मानव संपदा पोर्टल पर अपलोड नहीं किया है. माना जा रहा है कि इन 52 हजार कर्मचारियों का वेतन यूपी सरकार रोक सकती है.
52 हजार कर्मचारियों ने नहीं दी जानकारी
योगी सरकार के आदेश के अनुसार, प्रदेश के सभी 8,36,571 राज्यकर्मियों को अपनी चल-अचल संपत्ति का वार्षिक ब्योरा मानव संपदा पोर्टल पर अपलोड करना है. लेकिन अभी तक 52 हजार कर्मचारियों ने यह ब्योरा नहीं दिया है. आदेश के अनुसार, बीते साल 2023 की संपत्ति का वार्षिक ब्योरा 31 जनवरी तक देना था. कार्मिक विभाग के आदेश के बाद भी बड़ी संख्या में कर्मचारियों ने संपत्ति का लेखा-जोखा नहीं दिया.
3 बार दिया गया मौका
बड़ी संख्या में कर्माचरियों द्वारा संपत्ति का ब्योरा न देने के बाद योगी सरकार ने वेतन रोकने का आदेश दिया था. साथ ही 31 अगस्त तक का समय था. जिसके बाद 74 प्रतिशत कर्मचारियों ने अपनी संपत्ति के बारे में जानकारी दी थी. हालांकि, फिर भी 26 प्रतिशत कर्मचारी शेष रह गए थे. जिन्हें तीसरी बार मौका देते हुए 30 सितंबर तक का समय दिया गया था. लेकिन अभी भी 6 प्रतिशत कर्मचारियों ने अपनी संपत्ति का ब्योरा नहीं दिया है. इन कर्मचारियों के पास अब सिर्फ आज रात 12 बजे तक का समय है.
जानकारी के अनुसार, अब तक कुल 94 प्रतिशत (7,83,901 राज्यकर्मियों) ने अपनी प्रॉपर्टी का ब्योरा पेश कर दिया है. अब 6 प्रतिशत यानी करीब 52 हजार राज्यकर्मी शेष हैं.
मायावती सरकार ने भी जारी किया था आदेश
उल्लेखनीय है कि योगी सरकार से पहले 2010 में…सूबे में जब मायावती की सरकार थी, तब भी ऐसे आदेश दिए गए थे. लेकिन उस दौरान सरकारी अधिकारियों और कर्मचारियों ने आदेश का उल्लंघन किया था. हालांकि, अब योगी सरकार ने पोर्टल पर संपत्ति का विवरण देना अनिवार्य कर दिया है.
इन विभागों के कर्मचारियों ने जमा की डिटेल
मीडिया रिपोर्टस के अनुसार, जिन विभागों के कर्मचारियों ने सरकारी पोर्टल पर अपनी चल-अचल संपत्ति की जानकारी अपलोड कर दी है, उसमें सैनिक कल्याण, कपड़ा मंत्रालय, खेल, उर्जा, कृषि, राजस्व, औद्योगिक विकास, चिकित्सा स्वास्थ्य, महिला कल्याण, बेसिक शिक्षा, उच्च शिक्षा आदि विभाग के कर्मचारियों के कर्मचारी हैं. इन विभागों को के कर्मचारियों ने मानव संपदा पोर्टल पर अपनी संपत्ति का विवरण अपलोड कर दिया है.